तीन महीने पहले ससुराल से गायब हुई महिला की अब तक कोई खबर नहीं है। सबलगढ़ पुलिस भी इस मामले में ढिलाई बरते हुए है। इस बात पर नाराजगी जताते हुए हाईकोर्ट की युगल पीठ ने मुरैना SP को लगभग एक घंटे तक समझाया। हाईकोर्ट के जस्टिस रोहित आर्या ने मुरैना SP से पूछा कि आपके जिले में किसी मिसिंग व्यक्ति को खोजने की क्या व्यवस्था की है आपने ? अापके ऊपर कोर्ट को भरोसा है इसलिए एक अंतिम मौका दे रहे हैं, आप अपनी पुलिस को डिसिप्लिन सिखाइए, उनकी कार्यप्रणाली की मोनिटरिंग करिए । इस मामले की अगली सुनवाई के लिए कोर्ट ने 10 जनवरी की तारीख तय की है।IG को बुलाना पड़ेगाइस मामले में पुलिस की भूमिका पर हाईकोर्ट ने सवाल खडे किए हैं। कोर्ट ने सख्त लहजे में इस बात को स्पष्ट करते हुए कहा है कि यह कोई साधारण मामला नहीं है, गंभीर स्थित है। अगर SP को बुलाने से भी पुलिस नहीं सुधरेगी तो फिर आईजी को बुलाना पडेगा। कितना चिंता का विषय है कि जिस पर सबसे ज्यादा शक है युवती का पति, पुलिस उसे ही सपोर्ट कर रही है।मामले को ऐसे समझेंहाईकोर्ट में याचिकाकर्ता पिता ने दामाद पर बेटी को बंदी बनाने का आरोप लगाते हुए याचिका प्रस्तुत की है।याचिका मे बताया गया है कि लगभग 6 साल पहले सबलगढ़ निवासी भानू प्रकाश शर्मा के साथ याचिकाकर्ता की बेटी सोनम शर्मा का विवाह हुआ था। इसी वर्ष 18 सितंबर को महिला अपने पति के साथ मायके जौरा गई।इसके बाद भानू ने महिला के साथ मारपीट की और उसे बाइक पर बैठाकर अपने साथ सबलगढ ले गया। कुछ समय बाद भानू ने फोन पर महिला के स्वजनों को सूचित किया कि सोनम लापता हो गई है और इसके संबंध में उसके द्वारा पुलिस में रिपोर्ट भी दर्ज कराई गई है। यहां याचिकाकर्ता ने बेटी के साथ अप्रिय घटना होने की संभावना भी जताई है।

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